चीन के जाल में फंसा पाकिस्तान, तो सऊदी की शरण में जा पहुंचे इमरान
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चीन के जाल में फंसा पाकिस्तान, तो सऊदी की शरण में जा पहुंचे इमरान

Image may contain: 2 people, people standing खजाना खाली होता देख सऊदी अरब से की पैसा लगाने की गुहार
     कई अन्य छोटे देशों की तरह पाकिस्तान को चीन के कर्ज के जाल में फंसता देख उसके नए नवेले प्रधानमंत्री इमरान खान आनन-फानन में सऊदी अरब की शरण में जा पहुंचे हैं। उन्होंने सऊदी अरब से चाइना पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) प्रोजेक्ट में पैसा लगाने की गुहार लगाई है। दरअसल, सऊदी अरब से इमरान की गुहार की कई वजह भी हैं। पाकिस्तान CPEC प्रोजेक्ट के चलते जहां चीन से महंगा कर्ज लेने को मजबूर हो रहा, वहीं अमेरिका द्वारा आतंकवाद के खिलाफ जंग के नाम पर अभी तक दी जा रही आर्थिक मदद रोकने से उसको तगड़ा झटका लगा है। उसका विदेशी मुद्रा भंडार भी खाली होने के कगार पर पहुंच गया है।
Image may contain: 2 people चीन से ले चुका है 5 अरब डॉलर का कर्ज
     रॉयटर्स के मुताबिक, पाकिस्तान का चीन और इसके बैंकों से इस वित्तीय वर्ष में लिया गया कर्ज करीब 5 अरब डॉलर तक पहुंच गया है। माना जा रहा है कि चीन अपने महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट सीपीईसी के लिए उसे यह कर्ज मुहैया करा रहा है। दिलचस्प यह है कि अपने ही इंटरेस्ट वाले प्रोजेक्ट के लिए चीन द्वारा दिया जा रहा यह कर्ज खासा महंगा भी है। चीन पर पाकिस्तान की निर्भरता ऐसे समय में बढ़ रही है, जब अमेरिका, पाक को दी जाने वाली वित्तीय मदद में कटौती करता जा रहा है।
खाली होने के कगार पर विदेशी मुद्रा भंडार
     माना जा रहा है कि चीन से लिए गए इस नए लोन का इस्तेमाल पाकिस्तान अपने विदेशी मुद्रा भंडार की हालत ठीक करने में कर रहा है। बता दें कि पिछले सप्ताह पाकिस्तान का विदेशी मुद्रा भंडार जुलाई, 2017 के 14.58 अरब डॉलर से घटकर जुलाई, 2018 में 9.5 अरब डॉलर रह गया।
     पाकिस्तान की खस्ता हालत के लिए ग्लोबल रेटिंग एजेंसी मूडीज ने भी आगाह किया है। मूडीज ने कहा कि कैपिटल गुड्स का इंपोर्ट बढ़ने और सीपीईसी प्रोजेक्ट में निवेश बढ़ने से पाकिस्तान की इकोनॉमी पर बाहरी दबाव बढ़ता जा रहा है। इसका साफ असर उसके विदेशी मुद्रा भंडार पर भी दिख रहा है।
वादा तोड़ सऊदी अरब पहुंचे इमरान
     इकोनॉमी की खस्ता हालत को देखते हुए पाक के नए पीएम इमरान खान अपना वादा तोड़कर हाल में सऊदी अरब जा पहुंचे। दरअसल खान ने पीएम पद संभालने के तीन महीने तक कोई विदेशी दौरा नहीं करने का वादा किया था।
     अपनी विजिट के दौरान इमरान खान ने सऊदी से 50 अरब डॉलर के सीपीईसी प्रोजेक्ट में तीसरे ‘स्ट्रैटजिक पार्टनर’ के तौर पर निवेश करने की अपील की। दौरे के बाद पाकिस्तान के एक मंत्री ने कहा कि सऊदी के वित्त और ऊर्जा मंत्री इस सिलसिले में अक्टूबर के पहले हफ्ते में पाकिस्तान का दौरा करेंगे।
चीन ने खारिज किए आरोप
     हालांकि चीन लगातार पाकिस्तान को कर्ज के जाल में फंसाने के आरोपों को खारिज कर रहा है। सीपीईसी प्रोजेक्ट चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग की ग्लोबल बेल्ड एंड रोड इनीशिएटिव (BRI) का हिस्सा है। चीन दावा करता रहा है कि सीपीईसी के तहत ट्रांसपोर्ट नेटवर्क, एनर्जी प्रोजेक्ट, ग्वादर में एक डीप वाटर पोर्ट और स्पेशल इकोनॉमिक जोन का निर्माण किया जाएका, जिससे पाकिस्तान को 2030 तक एक मैन्युफैक्चरिंग हब के तौर पर विकसित करने में मदद मिलेगी।

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