
सूरत जिला एवं सत्र न्यायालय में दाखिल हलफनामे में हार्दिक के वकील दिलीप पटेल ने कहा कि उनके मुवक्किल उदयपुर में एयरपोर्ट रोड पर मकान नंबर 190, श्रीनाथ नगर में ठहरेंगे.
दिलीप पटेल ने कहा, ‘‘यह अगले छह महीने के लिए हार्दिक का अस्थायी पता है क्योंकि उच्च न्यायालय ने पिछले हफ्ते जमानत देते हुए हमें स्थानीय अदालत को अगले छह महीने के लिए उनके ठिकाने के बारे में सूचित करने का निर्देश दिया था. हार्दिक को अपनी रिहाई के दो दिन के अंदर गुजरात छोड़ना है.’’
पिछले सप्ताह गुजरात उच्च न्यायालय ने राजद्रोह के दो मामलों और विसनगर के विधायक के कार्यालय में हिंसा से जुड़े एक मामले में हार्दिक को जमानत देते हुए उनकी रिहाई का मार्ग प्रशस्त किया था. राजद्रोह के मामलों में जमानत देते हुए उच्च न्यायालय ने शर्त लगायी थी कि अगले छह महीने तक हार्दिक को गुजरात के बाहर रहना होगा. उच्च न्यायालय के निर्देशानुसार हार्दिक को जेल से रिहाई के 48 घंटे के अंदर गुजरात छोड़ना होगा.
इसी बीच यह खुलासा हुआ है कि उदयपुर में हार्दिक जिस मकान में ठहरेंगे, वह राजस्थान के पूर्व कांग्रेस विधायक पुष्करलाल पटेल का मकान है. पुष्करलाल पटेल ने उन्हें यहां ठहरने का न्यौता दिया. पूर्व विधायक के मुताबिक वह राजस्थान में पटेलों के नेता हैं.
पुष्करलाल पटेल ने यहां एक टीवी चैनल से कहा, ‘‘जैसे ही मुझे पता चला कि अदालत ने हार्दिक को छह महीने के लिए गुजरात से बाहर रहने को कहा है, मैंने उनके समर्थकों को न्यौता भेजा और हार्दिक को अपने मकान में रहने का निमंत्रण दिया. पटेल समुदाय हमेशा हार्दिक और समुदाय के वास्ते उनके आंदोलन के साथ खड़ा रहा है.’’
उन्होंने कहा, ‘‘वैसे तो मैं कांग्रेस विधायक था. लेकिन राजनीति का हार्दिक के निमंत्रण से कोई लेना-देना नहीं है. मैंने उन्हें निमंत्रित किया क्योंकि वह हमारे समुदाय के लिए लड़ रहे हैं. यहां ठहरने के दौरान पटेल नेता उनसे मिलेंगे और आगे की रणनीति पर चर्चा करेंगे.’’
हार्दिक सलाखों से नौ महीने बाद निकले और उन्होंने अपना आंदोलन जारी रखने का संकल्प लिया. उन्होंने कहा कि वह 56 इंच का सीना नहीं बल्कि अपने समुदाय के लिए अधिकार चाहते हैं.
वर्ष 2014 के आम चुनाव के प्रचार के दौरान मोदी द्वारा 56 इंच के सीने का दिए गए बयान की ओर इशारा करते हुए हार्दिक ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘मैं कहना चाहता हूं कि मैं ऊंचा कद, वजन या 56 इंज का सीना नहीं चाहता. बस मैं जो चाहता हूं वह है अपने समुदाय के लिए अधिकार.’’