मानगढ़ धाम पर 'धूणी' के लिए 10 करोड़ का बजट का ऐलान,
कहा आजादी के बाद से ही कांग्रेस ने आदिवासी विकास में नहीं छोड़ी कोई कमी
बांसवाड़ा/राजस्थान।। जब से जनजातीय क्षेत्र बांसवाड़ा में बीटीपी ने अपने राजनैतिक पैर पसारे है, तब से कांग्रेस और भाजपा की नींदे गायब हो चुकी है कि बिना किसी सत्ता बल और बिना किसी आर्थिक मदत के भारतीय ट्राइबल पार्टी आखिर आगे कैसे बढ़ रही है? इसी रोकथाम ओर कांग्रेस पार्टी की खोई हुई चमक को फिर से चमकाने के लिए राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने विश्व आदिवासी दिवस पर मानगढ़ धाम पर एक सभा को सम्बोधित करते हुए कहा कि सरकार बदलने से विकास रुक जाते हैं। यानि की अब कांग्रेस को हाथ से सत्ता जाते हुए दिख रही है।
असल मे गहलोत जी जिस विकास की दुहाई दे रहे है वह विकास तो सिर्फ कांग्रेस ओर उसके नेताओ का ही हो रहा है। कांग्रेस राज मे जो विकास ओर भर्तीयो के नाम पर जो गडबडझाला हुआ है, वह अब किसी से छुपा नही है। सरकारी स्कूलो मे शिक्षा व्यवस्था को जिस तरह बर्बाद किया गया है, उसका हिसाब लोग चुनाव मे चुकता करने को बैठे है, ओर बेरोजगारी, न्याय व कानून व्यवस्था के तो क्या कहने है? बस यू मान कर चलिए की कांग्रेस के आखिरी चुनाव है, आगे से पार्टी कही दूर-दराज भी देश मे नजर नही आएगी। इनके नेताओ ने जितनी मक्कारी, हरामखोरी ओर चोरी की है उसका तो कोई हिसाब ही नही है।
'गैर' नृत्य किया, बल्कि ढोल भी बजाया
राजस्थान के मुख्यमंत्री को अपने हाथ से सत्ता जाने डर इस कदर सता रहा है कि उन्होंने उदयपुर में आदिवासियों के साथ ना केवल 'गैर' नृत्य किया, बल्कि ढोल बजाया और उनसे मुलाकात भी की। जानकारो का कहना है कि विश्व आदिवासी दिवस' के मौके पर 'गैर' नृत्य में हिस्सा लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सामाजिक व राजनीतिक दांव आजमाया है। शहीद स्मारक मानगढ़धाम से उन्होंने एक तीर से कई राजनीतिक निशाने साधने की कोशिश की है।
खासतौर पर गुजरात में होने वाले चुनावों के मद्देनजर गुजरात के आदिवासी बाहुल्य इलाकों की सीटों को भी इस सभा से साधने की कोशिश की है। इस दौरान कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने भी कलाकारों के साथ 'गैर' नृत्य किया।
वही अब यहाँ बीटीपी पार्टी के द्वारा सरकार से यह सवाल किया गया है कि क्या जनता ने कांग्रेस की गहलोत सरकार को गैर नृत्य में नाचने और ढोल बजाने के लिए वोट दिया था या अच्छे स्कूल, अच्छी शिक्षा, अच्छी स्वास्थय व्यवस्था और अच्छे रोजगार मुहैया करवाने के लिए दिया था।
15 सीटों पर गैर नृत्य का होगा असर
बता दे कि बांसवाड़ा में मानगढ़ धाम में राजस्थान, गुजरात और मध्यप्रदेश के आदिवासियों की आस्था है। खुद सीएम गहलोत गुजरात के सीनियर चुनाव पर्यवेक्षक भी हैं। वहीं मंत्री महेंद्रजीत सिंह मालवीय, दाहोद के चुनाव प्रभारी हैं। ऐसे में दाहोद जिले की सात और समीपवर्ती जिलों समेत 15 सीटों पर इस गैर नृत्य का असर पडने की उम्मीद गहलोत मान रहे है। वही बीटीपी का कहना है कि कांग्रेस विकास के नाम पर उन बेवजह और बेक़ाम की ढांचागत निर्माण को बनाने में जनता की कड़ी मेहनत का पैसा फुक रही है, जिसमे कांग्रेसी हलकट टाइप के नेताओं को कमीशन खाने और हेराफेरी करने का पूरा मौका मिले। साथ ही बीटपी ने गहलोत को भ्रष्ट व्यवस्था और भ्रष्ट पार्टी का सरगना बताया है।
केंद्र सरकार नहीं करती कोई पहल
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मानगढ़ धाम पर जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि कोई नहीं जानता था कि मानगढ़ धाम की कितनी बड़ी शहादत है। हमने यहां पर स्मारक बनवाया, क्योंकि यहां पर 1500 आदिवासी भाइयों ने बलिदान दिया था जो व्यर्थ नहीं जा सकता। हर हाल में आदिवासी भाइयों को उनका सम्मान मिलना ही चाहिए. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के कारण पेट्रोल महंगा हो रहा है, डीजल महंगा हो रहा है, आटा-दाल, चावल सब कुछ महंगा हो रहा है। रोजगार के अवसर खत्म होते जा रहे हैं। फिर भी केंद्र सरकार कोई पहल नहीं करती।
मुख्यमंत्री ने किया पौधा रोपण:
मानगढ़ धाम पर मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने पौधारोपण किया. इस दौरान जिले के वरिष्ठ कांग्रेसी और मंत्री मौजूद रहे. वहीं सीएम ने कलेक्टर प्रकाश चंद शर्मा से भी काफी देर बात की. बताया जा रहा है उन्होंने जिले की स्थितियों को लेकर फीडबैक दिया है. वहीं आदिवासी परिवारों की ओर से सामूहिक नृत्य कर सीएम को विश्व आदिवासी दिवस की शुभकामनाएं भी दी है.
धूणी बनाने के लिए 10 करोड़ का बजट
गहलोत ने मानगढ़ धाम पर धूणी बनाने के लिए 10 करोड़ का बजट देने का ऐलान किया है। गहलोत ने कहा कि सरकार बदलने से विकास रुक जाते हैं। भाजपा सत्ता में आते ही उनकी घोषणाओं वाले काम रोक देती है, जबकि कांग्रेस सरकार उस मानसिकता से काम नहीं करती।
उन्होंने कहा कि आजादी के बाद से ही कांग्रेस ने आदिवासी विकास में कमी नहीं छोड़ी है। आगे भी कमी नहीं छोड़ेंगे। मंच को अजय माकन, गोविंद सिंह डोटासरा, सिंचाई मंत्री महेंद्रजीत सिंह मालवीया और राज्यमंत्री अर्जुन बामनिया ने भी संबोधित किया।
42 करोड़ रुपये की लागत से बनेगा पुल
बता दे की मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मंगलवार को बागीदौरा क्षेत्र को दो बड़ी सौगातें दी हैं. दोपहर करीब 12 बजे पहुंचकर सीएम गहलोत ने 42 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले पुल का शिलान्यास किया। साथ ही बागीदौरा के लिए एक अस्पताल की घोषणा भी की। सीएम गहलोत के साथ प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा, राजस्थान प्रभारी अजय माकन भी साथ थे।
यहां हुए कार्यक्रम के बाद सीएम मानगढ़ धाम के लिए रवाना हो गए।सीएम गहलोत हेलीकॉप्टर के जरिए बागीदौरा क्षेत्र के साग डूंगरी गांव में पहुंचे। उन्होंने यहां पर अनास नदी पर बनने वाले पुल का भी शिलान्यास किया। इसकी लागत करीब 42 करोड़ रुपये आएगी। सीएम गहलोत ने लोगों को संबोधित करते हुए बागीदौरा क्षेत्र के लिए 100 बेड के अस्पताल की भी घोषणा की। साथ ही उन्होंने लोगों को विश्व आदिवासी दिवस की बधाई भी दी।
कार्यक्रम में भीड़ नहीं जुटने देने की दी गई थी चेतावनी
कार्यक्रम में भीड़ जुटाने को लेकर मंत्री महेंद्रजीतसिंह मालवीया की इज्जत दांव पर लगी थी। वजह थी कि आदिवासी परिवार और प्रदेश भील मुक्ति मोर्चा की ओर से इस कार्यक्रम में भीड़ नहीं जुटने देने की चेतावनी दी गई थी। उधर, इस इलाके में राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी मंत्री मालवीया और राज्यमंत्री बामनिया एक साथ नजर तो आए लेकिन दोनों ने एक दूसरे तरफ देखा तक नहीं।