बालक के साथ किया गलत काम, 10 साल की सजा व जुर्माना

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4 वर्षीय बालक के साथ अप्राकृतिक कृत्य करने वाले आरोपी को 10-10 वर्ष सश्रम कारावास एवं 5-5 हजार रूपये जुर्माना 
  न्यायालय श्रीमती इंद्रा सिंह दशम् विशेष न्यायाधीश (पाॅक्सो) जबलपुर के न्यायालय द्वारा आरोपी सुदर्शन उर्फ भाउ षिवलाल निवासी सिंधी धर्मशाला के बाजू से घमापुर जबलपुर थाना घमापुर के अपराध क्रमांक 363/18 धारा 377 भादवि 3/4 पाक्सो में 10-10 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। 
  जिला अभियोजन अधिकारी कार्यालय जबलपुर के सहायक मीडिया सेल प्रभारी श्री जमना प्रसाद धुर्वे (सहायक जिला अभियोजन अधिकारी) के द्वारा बताया गया कि दिनांक 26/04/2018 को पीड़ित बालक के पिता ने थाना घमापुर में इस आशय की लिखित शिकायत की कि उक्त दिनांक को रात 10 बजे वह और आरोपी पार्टी से लौटे, तब आरोपी ने कहा कि वह छत पर सो जाये, तब उसने बोला सो जा सुबह 6 बजे नल आता है, पानी दूर से लाना पड़ता है। 
    फरियादी पानी भरने गया, जब पानी भरकर आया तब वह अपने बच्चे को ढूडने छत पर गया तो उसने देखा कि आरोपी बच्चे के ऊपर था और अप्राकृतिक कृत्य कर रहा था। तब फरियादी ने बच्चे और और आरोपी को नीचे लेकर आया और 100 नंबर पर फोन लगाया और थाने लेकर आया। जहां पर फरियादी ने अभियुक्त के विरूद्ध थाना घमापुर में अपराध क्रं. 363/18 धारा 377 भादवि एवं 3, 4, 5, 6 पाक्सो एक्ट के तहत पंजीबद्ध कर प्रकरण विवेचना में लिया गया। सम्पूर्ण विवेचना उपरांत अभियोग पत्र न्यायालय में पेश किया गया। संचालक लोक अभियोजन श्री पुरूशोत्तम शर्मा जी द्वारा उक्त प्रकरण की लगातार समीक्षा की जा रही थी। 
    संचालक लोक अभियोजन ने समय समय पर पैरवीकर्ता विशेष लोक अभियोजक श्रीमती स्मृतिलता बरकड़े का मार्गदर्शन किया गया। शासन की ओर से विशेष लोक अभियोजक श्रीमती स्मृतिलता बरकड़े द्वारा प्रकरण में सशक्त पैरवी करते हुए न्यायालय में 06 साक्षियों को परीक्षित कराया गया। विशेष लोक अभियोजन श्रीमती स्मृतिलता बरकड़े जबलपुर के तर्को से सहमत होते हुए न्यायालय श्रीमती इंद्रा सिंह दशम् विशेष न्यायाधीश (पाॅक्सो) जबलपुर के न्यायालय द्वारा, आरोपी सुदर्शन उर्फ भाउ षिवलाल निवासी सिंधी धर्मषाला के बाजू से घमापुर जबलपुर थाना घमापुर के अपराध क्रमांक 363/18 धारा 377 भादवि 3/4 पाक्सो में 10-10 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया।

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