राष्ट्रीय आदिवासी छात्र संघ की बैठक में EVM को लेकर हुई बड़ी बात
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राष्ट्रीय आदिवासी छात्र संघ की बैठक में EVM को लेकर हुई बड़ी बात

   बांसवाड़ा/राजस्थान।। आज जिले के तलवाड़ा ब्लॉक के भटवाड़ा गांव में हनुमान मंदिर पर राष्ट्रीय आदिवासी छात्र संघ की बैठक नारायण सिंगाड़ राष्ट्रीय आदिवासी छात्र संघ प्रदेश प्रभारी राजस्थान द्वारा ली गई। सिंगाड़ ने बताया कि आदिवासी समाज के छात्रों के सामाजिक एवं शैक्षणिक समस्या का समाधान करने हेतु देश की व्यवस्था में परिवर्तन करना, राष्ट्रीय आदिवासी छात्र संघ का अपना अलग कोई उद्देश्य नहीं, अभी तो देश में चल रहे इस व्यवस्था परिवर्तन में महा आंदोलन में एससी, एसटी, ओबीसी और माइनॉरिटी के समन्वय बनाकर साथ सहयोग करना व राष्ट्रीय आंदोलन में आदिवासी की भागीदारी सुनिश्चित करना, मूलनिवासी बहुजन महापुरुषों से निर्धारित किया हुआ समता स्वतंत्रता बंधुता एवं न्याय पर आधारित समाज और राष्ट्र का निर्माण तथा व्यवस्था परिवर्तन करने का अंतिम उद्देश्य है। 
  सिंगाड़ ने केंद्र सरकार पर EVM से छेड़छाड़ कर सत्ता में बने रहने का भी आरोप लगाते हुए चुनाव आयोग से बैलेट पेपर के माध्यम से चुनाव करवाने की मांग की है। इस हेतु सिंगाड़ ने मिडिया में EVM से छेड़छाड़ होने सम्बंधित कई ख़बरों को भी बैठक में साँझा कर केंद्र सरकार को सवालों के घेरे में खड़ा किया। सिंगाड़ ने बहुजन विद्यार्थियों की समस्या एवं उनके भविष्य को सरकार कैसे बर्बाद कर रही है उस पर भी कई बिंदुवार आरोप जड़े है।    
वर्तमान में छात्रों की समस्या
-शिक्षा का निजीकरण व बढ़ती बेरोजगारी। 
-जनसंख्या के अनुपात में आरक्षण ना देखकर मूलनिवासी समाज में झगड़ा लगाना। 
-पांचवी छठी अनुसूची घोषित कर उसे अमल में ना लाकर आदिवासियों के हक अधिकार को खत्म करने का षड्यंत्र के तहत देशभर में आदिवासियों को जल जंगल जमीन से बेदखल करने के लिए सरकार द्वारा विभिन्न प्रोजेक्ट लाना व विकास के नाम पर आदिवासियों को विस्थापित करने का षड्यंत्र। 
-हजारों B.a.B.ed, इंजीनियरिंग,  एग्रीकल्चर, पॉलिटेक्निक कॉलेज, शाला आश्रम, स्कूल बंद करना, भारत के गौरवशाली शैक्षणिक शैक्षिक परंपरा और उसका का नाश करना। 
बहुजन विद्यार्थियों के वर्तमान और भविष्य के दुर्गति के कारण  
-आठवीं कक्षा तक विद्यार्थियों को पास करने का निर्णय यह विद्यार्थियों के बौद्धिक क्षमता को समाप्त करने का और मूलनिवासी बहुजन को भिखारी तथा गुलाम बनाने का षड्यंत्र है। 
-गुणवत्ता एंड शिक्षा की वजह से भारत में 93% छात्र छात्राएं नौकरी के लायक नहीं है ऐसा वैश्विक संस्थाओ का निष्कर्ष है। 
-पांचवी कक्षा तक परीक्षा न लिए जाने के निर्णय से आठवीं पास और 10वीं फेल बच्चे गुलाम और मजदूर तैयार होंगे आदि विभिन्न मुद्दों पर चर्चा की गई और राष्ट्रीय आदिवासी छात्र संघ सदस्य जोड़ो अभियान में बीस से ज्यादा छात्रों ने अपनी सदस्यता ली और बैठक की अध्यक्षता भटवाड़ा लैंप अध्यक्ष हीरालाल बामणिया ने की। राहुल बामणिया, देवजी भाई, संजय, राहुल, विनोद, कालू, अनिल, अरविंद, जवान, दिनेश आदि कई छात्र उक्त बैठक में मौजूद रहे। 

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